दिग्विजय सिंह का बंगलुरु कूच/ मेरे पास न बम है, न पिस्तौल, फिर क्यों रोका: दिग्विजय

बंगलुरू-


बागी विधायकों को मनाने की जिम्मेदारी दिग्विजय के पास-


मुख्यमंत्री बागी विधायकों को मनाने में कोई कसर नहीं छोड़ना चाह रहे हैं। यह जिम्मेदारी उन्होंने अब दिग्विजय सिंह के नेतृत्व में 8 मंत्री और विधायकों को जिम्मेदारी सौंपी है। ये सभी लोग सुबह से बेंगलुरु में हैं। वहां कांग्रेस नेताओं को हिरासत में लिए जाने पर मुख्यमंत्री ने ट्वीट कर कर्नाटक सरकार की हिटलरशाही बताई।



मेरे पास न बम है, न पिस्तौल, फिर क्यों रोका: दिग्विजय


दिग्विजय सिंह ने कहा, ‘‘पुलिस हमें विधायकों से मिलने नहीं दे रही है। मैं मध्य प्रदेश का राज्यसभा उम्मीदवार हूं। 26 तारीख को राज्यसभा चुनाव के लिए विधानसभा में वोटिंग होनी है। हमारे विधायकों को यहां होटल में बंधक बनाकर रखा गया है। वे हमसे बात करना चाहते हैं, लेकिन उनके मोबाइल छीन लिए गए। भाजपा नेता अरविंद भदौरिया और कुछ गुंडे अंदर हैं। विधायकों की जान को खतरा है। मेरे पास हाथ में न बम है, न पिस्तौल और न ही कोई हथियार है। फिर भी पुलिस मुझे क्यों रोक रही है। मुझे मिलवा दें, उसके बाद चला जाऊंगा। इसमें क्या परेशानी है।’’



‘मैं भाजपा के राज में पुलिस से नहीं डरता’-


पुलिस हिरासत में दिग्विजय ने कहा, ''बेंगलुरु में तो भाजपा की सरकार है। पुलिस भी उन्हीं के इशारे पर काम कर रही है। मुझे तो भाजपा के राज में भी उनकी पुलिस के बीच डर नहीं लग रहा। लेकिन भाजपा नेताओं को किस बात का डर है, क्या वे खुद अपनी पुलिस से डर रहे हैं? मैं यहां गांधीवादी तरीके से अपने विधायकों से मिलने आया हूं। उम्मीद है कि वे जल्द लौट जाएंगे। 5 विधायकों से मेरी बात हुई तो उन्होंने बंधक होने की जानकारी दी। होटल में 24 घंटे पुलिस का पहरा है। विधायकों की हर गतिविधि पर नजर रखी जा रही है।''